
भोपाल
1 जुलाई से देशभर में लागू हुए 3 नए कानूनों का असर दिखने लगा है। अब कानूनों के आधार पर मध्य प्रदेश पुलिस भी स्मार्ट होने की दिशा में आगे बढ़ने लगी है। मध्य प्रदेश पुलिस अब बॉडी वॉर्न कैमरे खरीदने जा रही है। पहली किश्त में करीब 1200 बॉडी वॉर्न कैमरे खरीदने की योजना है।
क्या होते हैं बॉडी वॉर्न कैमरे
बॉडी वॉर्न कैमरे वह कैमरे होते हैं, जिन्हें शरीर में पहना जा सकता है। भोपाल पुलिस के पास पहले से कुछ ऐसे कैमरे मौजूद हैं। हालांकि वे नई अपडेटेड टेक्नोलाजी के आगे फीके हो गए हैं। वर्तमान में कुछ जगहों पर यातायात पुलिस इन कैमरों को पहनती है। पुलिस जब भी दबिश देगी या सर्चिंग करेगी तो उसकी लाइव वीडियोग्राफी की जाएगी। इसलिए बॉडी वॉर्न कैमरे इस नई व्यवस्था में ज्यादा मुफीद होंगे।
कंट्रोल रुम से लाइव देख सकेंगे अफसर
पुलिस की दबिश की कार्रवाई कंट्रोल रूम पर अफसर लाइव देख सकेंगे। सबसे पहले 600 लाइव स्ट्रीमिंग कैमरे और 600 ऑफ लाइन कैमरे खरीदे जाने की योजना है। इन सभी 1200 बॉडी वॉर्न कैमरों को पूरे प्रदेश की पुलिस को बाटा जाएगा। 3 नए कानून लागू होने के बाद पुलिस का अधिकांश काम डिजिटल हो गया है। सबूत इकट्ठे करने के लिए हर घटना की वीडियो रिकार्डिंग करनी पड़ रही है।
पहले मोबाइल से बनाते थे वीडियो
बॉडी वॉर्न कैमरे न होने से जांच अधिकारी पुलिसकर्मियों को अपने मोबाइल से वीडियो बनाना पड़ता है, लेकिन कानून में प्रावधान नहीं होने के कारण इस तरह के कई साक्ष्य न्यायालय में मान्य नहीं किए जाते थे। नए बदलाव के अनुरूप क्राइम और क्रिमिनल ट्रैकिंग नेटवर्क और सिस्टम (सीसीटीएनएस) में परिवर्तन किया गया है।
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