कोलकाता
डॉक्टरों की बढ़ती मांग और असंतोष के बीच ममता बनर्जी की सरकार ने कोलकाता पुलिस में बड़ा फेरबदल किया है। सरकार ने पुलिस कमिश्नर विनीत गोयल को उनके पद से हटा दिया है और उनकी जगह मनोज कुमार वर्मा को नया पुलिस कमिश्नर नियुक्त किया है। ममता सरकार की तरफ से यह निर्णय तब लिया गया जब आरजी कर अस्पताल में महिला डॉक्टर के साथ रेप और फिर हत्या को लेकर कई जूनियर डॉक्टर प्रदर्शन कर रहे हैं।
मनोज कुमार वर्मा 1998 बैच के आईपीएस अधिकारी हैं और मौजूदा वक्त में राज्य पुलिस के एडीजी (कानून-व्यवस्था) के पद पर कार्यरत थे। उनका जन्म 1968 में राजस्थान के सवाई माधोपुर में हुआ था। लोकसेवा में चयनित होने के बाद उन्होंने कई अहम पदों पर अपनी सेवाएं दी हैं। मनोज कुमार वर्मा ने अपने कार्यकाल के दौरान कोलकाता पुलिस में अतिरिक्त कमिश्नर के रूप में भी जिम्मेदारी निभाई है। साथ ही, उन्होंने डिसी (स्पेशल), डिसी (ट्रैफिक) जैसे महत्वपूर्ण पदों पर भी कार्य किया है। इसके अलावा, वर्मा ने पश्चिम मिदनापुर के पुलिस सुपरिंटेंडेंट के रूप में माओवादी गतिविधियों को नियंत्रित करने में महत्वपूर्ण भूमिका अदा की।
मनोज कुमार वर्मा को 2017 में शिलिगुड़ी पुलिस कमिश्नरेट और दार्जिलिंग के आईजी के रूप में नियुक्त किया गया था, जहां उन्होंने सफलतापूर्वक कानून व्यवस्था बनाए रखी। उनके कार्यों के लिए उन्हें 2017 में राज्य सरकार का पुलिस पदक और 2019 में मुख्यमंत्री का पुलिस पदक प्रदान किया गया था।
हालांकि कोलकाता पुलिस कमिश्नर के पद के लिए कुछ अन्य अधिकारियों के नाम भी चर्चा में थे, लेकिन आखिर में मनोज कुमार वर्मा का चयन हुआ। अब तक कोलकाता पुलिस कमिश्नर के पद पर रहे विनीत गोयल को एडीजी (एसटीएफ) के पद पर भेजा गया है। इसके साथ ही, राज्य और कोलकाता पुलिस के कई अन्य पदों पर भी बदलाव किए गए हैं।

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