अहमदाबाद एयर इंडिया का बड़ा फैसला: प्लेन क्रैश पीड़ितों के 166 परिवारों को 25 लाख का मुआवजा

अहमदाबाद

अहमदाबाद में हुए विमान हादसे में जान गंवाने वाले यात्रियों के परिवारों को राहत देने की प्रक्रिया तेजी से जारी है। एयर इंडिया ने अब तक 166 परिवारों को 25 लाख रुपये का अंतरिम मुआवजा प्रदान कर दिया है। इसमें 147 मृत यात्रियों के परिवार शामिल हैं, साथ ही घटनास्थल पर मारे गए 19 लोगों के परिवारों को भी यह मुआवजा दिया गया है। इस दुखद हादसे में कुल 229 यात्रियों की मौत हुई थी। एयर इंडिया ने बताया है कि बाकी 52 मृतकों के दस्तावेजों की जांच अभी पूरी की जा रही है। जांच पूरी होते ही इन परिवारों को भी मुआवजा प्रदान किया जाएगा। एयरलाइन प्रशासन ने इस दुखद घटना के बाद परिवारों को जल्द से जल्द राहत पहुंचाने का आश्वासन दिया है।

परिवारों को दीर्घकालिक सहायता प्रदान करने के लिए, टाटा समूह ने अहमदाबाद विमान दुर्घटना में मारे गए लोगों की स्मृति में समर्पित `AI-171 मेमोरियल एंड वेलफेयर ट्रस्ट` की स्थापना की है.बयान में कहा गया है, "ट्रस्ट ने प्रत्येक मृतक के लिए एक करोड़ रुपये की अनुग्रह राशि देने का संकल्प लिया है." परिवारों को वित्तीय सहायता प्रदान करने के अलावा, ट्रस्ट बीजे मेडिकल कॉलेज छात्रावास के बुनियादी ढांचे के पुनर्निर्माण के लिए भी धन मुहैया कराएगा, जो दुर्घटना में क्षतिग्रस्त हो गया था.

आपातकालीन कर्मियों और स्वयंसेवकों की महत्वपूर्ण भूमिका को स्वीकार करते हुए, एयरलाइन ने कहा कि ट्रस्ट इस दुखद घटना के बाद सहायता प्रदान करने वाले प्रथम प्रतिक्रियाकर्ताओं, चिकित्सा और आपदा राहत पेशेवरों, सामाजिक कार्यकर्ताओं और सरकारी कर्मचारियों को सहायता और मनोवैज्ञानिक सहायता प्रदान करेगा.

एयरलाइन ने कहा, "एयर इंडिया AI171 दुर्घटना से प्रभावित परिवारों और लोगों के साथ एकजुटता से खड़ी है.हम उनके नुकसान पर शोक व्यक्त करते हैं और इस कठिन समय में सहायता प्रदान करने के लिए पूरी तरह प्रतिबद्ध हैं." AI171 दुर्घटना पिछले एक दशक की सबसे घातक विमानन दुर्घटनाओं में से एक है.घटना की जाँच जारी है.

परिवारों के लिए राहत और आगे की कार्रवाई
मुआवजे के रूप में मिलने वाली राशि से प्रभावित परिवारों को आर्थिक सहायता मिलेगी। एयर इंडिया इस बात का ध्यान रख रही है कि प्रक्रिया में कोई देरी न हो। कंपनी ने दुर्घटना के बाद सभी जरूरी कदम उठाए हैं ताकि परिवारों को समय पर न्याय मिल सके।